सख्त नकलरोधी कानून पर लेखपाल-पटवारी भर्ती परीक्षा में शामिल हुए अभ्यर्थियों ने जताया भरोसा बोले- नकल माफिया पर लगेगा अंकुश, भविष्य में नहीं कर पाएंगे भर्ती परीक्षाओं में गड़बड़ी का दुस्साहस
देहरादून। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी सरकार द्वारा भ्रष्टाचार पर प्रहार की नीति के तहत भर्ती परीक्षाओं में शुचिता और निष्पक्षता बनाए रखने के लिए बनाए गए सख्त नकलरोधी कानून पर लेखपाल-पटवारी भर्ती परीक्षा में शामिल अभ्यर्थियों ने भरोसा जताया है।
अभ्यर्थियों का कहना है कि इस कानून से नकल माफिया पर अंकुश लगेगा और वह भविष्य में भर्ती परीक्षाओं में गड़बड़ी का दुस्साहस नहीं कर पाएंगे। नकलरोधी कानून के अस्तित्व में आने के बाद पहली भर्ती परीक्षा के रूप में रविवार को प्रदेशभर में लेखपाल और पटवारी भर्ती परीक्षा हुई।
परीक्षा समाप्त होने के बाद दैनिक जागरण ने भर्ती परीक्षाओं में नकल पर रोक लगाने के लिए नकलरोधी कानून के रूप में उठाए गए सरकार के कदम पर अभ्यर्थियों की राय जानी। अधिकांश अभ्यर्थियों ने सरकार के इस कदम को सही माना और उम्मीद जताई कि सख्त कानून बनने से नकल माफिया बच नहीं पाएंगे। हालांकि, कुछ युवाओं ने कानून बनने के बाद नकल के प्रकरण थमने पर संदेह जताया।
सरकार ने करीब एक माह के अंतराल में दोबारा परीक्षा कराकर सही संदेश दिया है, अन्यथा रद होने के बाद दोबारा परीक्षा होने में कई-कई माह लग जाते हैं। इससे युवाओं में विश्वास जगा है। सरकार ने जो नकलरोधी कानून बनाया है, उससे नकल माफिया के अंदर निश्चित रूप से भय उत्पन्न होगा। सरकार को चाहिए कि परिणाम भी जल्द घोषित करें, ताकि युवाओं को रोजगार मिल सके। नकल रोकने को सरकार के उठाए गए कदम से मुझे संतुष्टि मिली है।